28 फरवरी 2025 की सुबह, महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले के अलीबाग के निकट समुद्र में एक मछली पकड़ने वाली नाव में अचानक आग लग गई, जिससे समुद्र में एक भयावह दृश्य उत्पन्न हो गया। नाव पर सवार सभी 18 मछुआरों को भारतीय तटरक्षक बल और नौसेना के त्वरित और समन्वित प्रयासों से सुरक्षित बचा लिया गया।
घटना का विवरण
रायगढ़ जिले के अक्षी गांव के तट से लगभग 6-7 समुद्री मील दूर, सुबह 3 से 4 बजे के बीच, ‘राकेश गण’ नामक मछली पकड़ने वाली नाव में अचानक आग लग गई। नाव के मालिक, मारुति गण, ने बताया कि नाव मछली पकड़ने के लिए समुद्र में गई थी, जब यह हादसा हुआ। आग लगने का संभावित कारण शॉर्ट सर्किट माना जा रहा है, लेकिन वास्तविक कारणों की पुष्टि के लिए जांच जारी है।
बचाव अभियान
आग लगने की सूचना मिलते ही, भारतीय तटरक्षक बल और नौसेना ने तुरंत प्रतिक्रिया दी। उनकी त्वरित कार्रवाई के परिणामस्वरूप, सभी 18 मछुआरों को सुरक्षित बचा लिया गया। रायगढ़ के पुलिस अधीक्षक ने पुष्टि की कि इस घटना में कोई हताहत नहीं हुआ है। हालांकि, आग के कारण नाव का लगभग 80% हिस्सा जलकर नष्ट हो गया।
स्थानीय प्रतिक्रिया
इस घटना ने स्थानीय समुदाय में चिंता और भय का माहौल पैदा कर दिया है। अक्षी और आसपास के गांवों के मछुआरे समुद्र में अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं। स्थानीय प्रशासन ने मछुआरों को आश्वासन दिया है कि वे सुरक्षा मानकों की समीक्षा करेंगे और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए आवश्यक कदम उठाएंगे।
सुरक्षा उपायों की आवश्यकता
इस घटना ने समुद्री सुरक्षा उपायों की पुनः समीक्षा की आवश्यकता को उजागर किया है। विशेषज्ञों का मानना है कि मछली पकड़ने वाली नावों में नियमित रूप से विद्युत प्रणाली की जांच, अग्निशमन उपकरणों की उपलब्धता, और मछुआरों के लिए आपातकालीन प्रशिक्षण अनिवार्य किया जाना चाहिए। इसके अलावा, समुद्र में संचार प्रणाली को मजबूत करना भी आवश्यक है, ताकि आपात स्थिति में तुरंत सहायता प्राप्त की जा सके।
निष्कर्ष
हालांकि इस घटना में सभी मछुआरों की सुरक्षित वापसी राहत की बात है, लेकिन यह घटना समुद्री सुरक्षा के प्रति हमारी जागरूकता और सतर्कता को बढ़ाने की आवश्यकता को दर्शाती है। स्थानीय प्रशासन, मछुआरा समुदाय, और संबंधित एजेंसियों को मिलकर ऐसे उपाय करने चाहिए, जिससे भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं से बचा जा सके और समुद्र में मछुआरों की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।